ऑफिस के बॉस और उनके दोस्तों ने मुझे चोदा office ke boss or unke dosto ne mujhe choda

ऑफिस के बॉस और उनके दोस्तों ने मुझे चोदा office ke boss or unke dosto ne mujhe choda, Mast aur jabardast chudai ; chud gayi ; chudwa li ; chod di ; chod di ; choda chadi aur chudas ; antarvasna kamvasna kamukta ; chudwane aur chudne ke khel ; chut gand bur chudwaya ; lund land lauda chusne chuswane chusai chusa cudai coda cudi ; Hindi Sex Story ; Porn Stories ; Chudai ki kahani.
मेरा नाम सीमा है और मैं जॉब कराती हूँ. ये बात 2011 की है मैं मार्केटिंग का काम कराती थी. सुबह 8 बजे से रात को 9 बजे तक मैं एक ऑफिस में रहती थी.
अब मैं अपनी कहानी कहती हूँ मेरे बॉस का नाम अजय था जब मैं वह काम करना शुरू की मेरा बॉस बहत अच्छा था. मैं बहुत अच्छा कम भी कराती थी. कई लडके भी मेरे साथ काम करते थे तब में एक ही लड़की थी 2 रूम थे एक में सारे लडके सोया करते थे और एक रूम में मैं और मेरे बॉस सोते थे.
5 दिन थे शायद वोह. रात को 11 बजे मैं दरवाजा बंद करके सोने गई तो थोड़ी देर में मेरा बॉस उठ के मेरे ऊपर आकर लेट गया… मैं बहुत ज्यादा दर गई मैं बोलने लगी सर रहने दो प्लीज रहने दो सर ये गलत है मेरे साथ ऐसा मत करो…..लेकिन उसने मेरी एक न सुनी. उसने मेरे दोनों हाथ पकड़ लिए और अपना कुरता ऊपर कर दिया फिर मेरे बूब्स को जोर जोर से दबाने लगा. मैं चिल्लातीदिया रही पर उसने मुझे नहीं छोड़ा. उसने कसके खीच के मेरी ब्रा निकल दी और मेरे बूब्स को देख के वोह तो जैसे पागल हो गया क्योकि मेरे बूब्स बहुत बड़े 36 के थे.
मैं रोती रही पर वोह नहीं रुका मैं मना कराती रही पर उसने एक भी बात नहीं सुनी. उसने मेरे बूब्स चुसना चालू किया. मैंने मना किया फिर भी वोह दरो से कटाने लगा मुझे कुछ होने लगा समझ में नहीं आया मैं क्या करू. उसने आधे घंटे तक मेरे बूब्स को चूसा और दातो से काटा. मैं पागल हो गई फिर उसने मेरी सलवार निकल दी मैंने मना किया पर उसने मुझे पूरा नंगा कर दिया.
उसका लौड़ा लकड़ी जैसे खड़ा था मुझे नंगा करके वोह मेरी चूत मरने के लिए रेडी हो गया. उसने मेरे बूब्स इतनी बुरी तरह से काटे की मेरे बूब्स से खून निकालने लगा और  उनके दात के निशान पद गए. उसने जोश में आकर अपने खड़े हुए लंड को पेलने के लिए एक जोर का धक्का दिया. उसका लंड मेरी चूत को फाड़ता हुआ अंदर चला गया  जिसकी वजह से मेरे मुह से ओह्ह म्म्यय्य गोड्ड चिल्लाने की आवाज आई तो उसने अपना हाथ मेरे मुह पे रख दिया.
फिर मेरा मन भी मेरी चूत चोदने में उसका पूरा साथ देने को हुआ. मेरे मुह से अआह्ह्हह्ह्ह्हह आआआ ओह्ह्ह्हह्ह्ह्हज्ज्जजजैसी आवाजे निकालने लगी. उस रात उसने मेरी जमके चुदाई की. फिर दुसरे रात उसने मुझे कहा मेरे  पैर दबा दो, मैंने दबाना शुरू किया तो उसने मेरा हाथ अपने लंड पे रख दिया. मैंने जैसे ही छुवा वो उठकर खड़ा हो गया. फिर खड़े होकर मेरे बूब्स चूसने लगा. उस दिन भी  उसने मुझे रात भर चोदा. हम जब ऑफिस में रहते तो हम अकेले रहते वह भी दिन में वो कभी कबार मौका मिलते ही मेरे बूब्स को दबा देते और कभी कभी चूसने भी लगता  और छुट्टी में कभी कभी घर पे रहती थी तो भी मौका नहीं छोड़ते थे.
ऐसे करते करते ही कई महीने बीत गए उन्होंने मेरी जमके चुदाई की. एक रात को उसका दोस्त आया हम तीनो साथ में सोये थे. मेरे बॉस का मुझे चोदने का मन हुआ लेकिन दोस्त था तो चोद नहीं पाया वो नहाने गए तो मेरे बॉस ने मेरे बूब्स चूसने में काम लगा दिया और कहा मुझे चोदने का मन है पर मेरा दोस्त है कैसे चोदु. दोस्तों आप ये कहानी मस्ताराम डॉट नेट पे पढ़ रहे है।
सारा दिन हमलोग घुमे रात को खाना खाया और 11 बजे घर लॉक करके अंदर गये थोड़ी देर इधर उधर की बाते की फिर बॉस ने कहा आज तो यह सो जा मैं सो गयी मेरे बाजु में वोह दोनों आके सो गए धीरे धीरे मेरे सर ने मेरे बूब्स को दबाया मैं कुछ नहीं बोली दूसरी और से उसके दोस्त ने मेरे बूब्स को दबाया. दोनों ने मुझे बिच में सुला कर मेरे बूब्स पर टूट पड़े. मेरे बूब्स को दातो से कट के बुरी हालत कर दी. अब मेरे बॉस ने सिगरेट जलाई दोनों के हाथ में एक एक सिगरेट थी पहले मेरे बॉस ने बूब्स पे जलाया और चूसा फिर उसके दोस्त ने मेरी चूत की और सिगरेट ले गया. मेरे सर ने बूब्स पे सिगरेट से जला के चूस रहे थे और उसका दोस्त मेरी चूत में दम देकर चाट रहा था फिर ऐसी ही सिगरेट के साथ पूरी रात चुदाई की.
बॉस का दोस्त 4 दिन रुका और 4 दिन उसने बॉस के साथ मिलकर मेरी चुदाई की. फिर वो तो चला गया फिर मेरे बॉस ने एक दिन ऑफिस में अपने किसी दोस्त को बुलाया 2 बजे दोपहर में वो आया फिर सर ने मुझे परदे के पीछे भेजा और वह आकर मेरे बूब्स के कुछ तस्वीरे निकली और फिर मेरे बूब्स चुसे फिर वो आगे चले गए और उनका दोस्त आया उसने भी मेरे बूब्स दबाये और मेरी ब्रा निकल दिया.
फिर मेरे सर ने मेरे बूब्स को चूसते हुए कुछ पिक्चर निकली और कहा आज रात मेरे कुछ दोस्त घर पर आयेंगे खाना मत बनाना मैंने सबके लिए खाना नहीं बनाया सब बहार खा के आये. सब कुछ काम करते करते १२ बज गए इसके बाद मैं फ्री हुयी अब सोने की तैयारी थी. मेरे सर ने मुझे कपडे निकालने को कहा मैंने मना कर दिया पर उसके 5 दोस्त ने मुझे जबरजस्ती मेरे कपडे निकल मेरे बूब्स चुसे और धमकी देने के लिए मेरी तस्वीरे मुझे दिखा दी मैं डर गई और मई नंगी हो गई और जैसे ही मैं नंगी हुयी उसके सभी दोस्त कोई मेरे बूब्स दबाता कोई चुस्त कोई चूत में उंगली करता कोई क्लिट रगड़ता वो सभी मुझ पर कुत्ते की तरह बरस पड़े.
इस बार सभी ने मेरी चुदाई का विडियो बना लिया लेकिन उस रात मुझे इतने लोगो से चुदवाने के बाद जन्नत मिल गई. बहुत मजा आया. अब मैं मेरे सर को और उनके दोस्तों को बहुत मिस कराती हूँ.

मेरी बीवी अपने बॉस से चुदी meri biwi apne boss se chudi

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मेरा नाम रवि, मेरी उम्र 24 है। मैं एक सरकारी नौकरी करता हूँ। मेरी पत्नी का नाम सुनयना है। उसकी उम्र भी 23 साल है। वह एक निजी कम्पनी में काम करती है। उसने एम बी ए कर रखी है। वो बहुत सुन्दर है। उसकी फ़िगर 32-28-32 और उसका कद 5’4″ है। उसके चुची गोल गोल और गोरी गोरी है। हमारी लव मैरिज हुई थी। पर हम दोनों काम के कारण दूर-दूर रहते हैं। उसे मुझसे चुदना बहुत पसन्द है। जब भी हम मिलते हैं तो वो रात भर चुदती है। मैं कई बार झड़ ज़ाता हूँ पर वो एक बार भी नहीं झड़ती। वो काफी गरम है।
यह उस समय की बात है जब मैं उससे मिलने गया। उसके फ़्लैट की एक चाबी मेरे पास रहती है। मैं घर के अन्दर चला गया। सुनयना वहां नहीं थी। मैं उसे सरप्राइज़ देना चाहता था। पर मुझे क्या पता था मुझे सरप्राइज़ मिलेगा। दोस्तों यह कहानी आप मस्तराम डॉट नेट पर पढ़ रहे है
वहाँ पर मैंने जो देखा उसे देख कर मैं दंग रह गया। वहाँ पर शराब की बोतलें थी हर जगह। जब मैंने उसकी अलमारी खोली तो वहाँ ब्लू फ़िल्म की सीडी और काफ़ी कन्डोम थे। मुझे समझ नहीं आ रहा था कि यह सब सामान यहाँ क्यों है।
मैं सुनयना पर बड़ा विश्वास करता था। पर मुझे गड़बड़ लगी। मैं सुनयना का इन्तज़ार करने लगा। तभी बाहर गाड़ी की आवाज सुनाई दी। मैंने सोचा कि सुनयना आ गई। जब मैंने शीशे से बाहर देखा तो मुझे अपनी आँखों पर विश्वास नहीं हुआ। उसके साथ काई आदमी था, 45 साल का होगा। मैं तुरंत परदे के पीछे छिप गया। तभी दोनों अन्दर आ गये।
सुनयना ने सफ़ेद रंग की कमीज़ और काले रंग की स्कर्ट पहनी थी। उसके बाल खुले थे। सुनयना और उसका बॉस दोनों बातें करने लगे। सुनयना 4 गिलास और शराब की बोतल ले आई। मुझे समझ नहीं आ रहा था कि मैं क्या करुँ। मैं सोचने लगा कि सुनयना ऐसा कैसे कर सकती है। सुनयना ने 4 ग्लास ड्रिन्क बना दिये। तभी बेल बजी, सुनयना ने दरवाज़ा खोला तो दो और आदमी अन्दर आ अये। सभी उसके बॉस लग रहे थे। एक ने अन्दर आते ही उसे चूम लिया और उसे उठा के ले आया। सभी ने ड्रिन्क उठा ली। उस समय मुझे इतना गुस्सा आ रहा था कि उसे मार दूँ। मेरे साथ इतना बड़ा धोखा किया मेरे प्यार ने।
तब उसके एक बॉस उसके पास जा के बैठ गया और उसके वक्ष पे हाथ फ़ेरने लगा। उसने सुनयना की शर्ट उतार दी, उसने काले रंग की ब्रा पहन रखी थी। तब सभी उसके पास आ गये और उसकी शरीर पे हाथ फ़ेरने लगे। वो अब गर्म होने लगी थी। एक बॉस ने उसकी स्कर्ट के अंदर हाथ डाल दिया और उसे उठा के बेड पे ले गए। उन्होंने उसकी स्कर्ट उतार दी, उसने काले रंग की पैन्टी पहनी थी। एक ने उसकी ब्रा उतार दी और पैन्टी भी। दोस्तों यह कहानी आप मस्तराम डॉट नेट पर पढ़ रहे है
वो अब बिल्कुल नंगी होकर एक रन्डी की तरह बेड पड़ी थी। एक बॉस उसके स्तन दबा रहा था और एक उसकी चूत में उन्गली डाल रहा था और एक उसको देख कर मुठ मार रहा था। वो इस सब का काफी मज़ा ले रही थी। मैंने देखा कि मेरा लन्ड भी खड़ा हो गया है। मैं भी उसे देख कर मुठ मारने लगा। तब एक ने सुनयना के मुँह में लण्ड डाल दिया। वह भी पूरा लण्ड मज़े से चूसने लगी। उसने कभी इस तरह मेरा लण्ड नहीं चूसा होगा। एक उसके स्तनों को जोर जोर से दबा रहा था, उसके मुँह से अहऽऽ अहऽ अहऽऽऽ की आवाज निकल रही थी। तभी एक ने उसकी चूत में पूरा लण्ड डाल दिया। वो पूरे मजे में चुद रही थी। तब एक ने उसकी गाण्ड में लण्ड डाल दिया। वो मेरे आँखों के सामने दो लण्ड ले रही थी और एक का लौड़ा अपने मुँह में ले रखा था। क्या दृश्य था ! मेरे सामने ब्लू फ़िल्म लगी थी जैसे।
फ़िर एक बॉस का पूरा लण्ड अपने मुँह में भर लिया और अन्दर-बाहर करते हुए अपने मुँह की चुदाई कराने लगी।
सर, मुझे लण्ड चूसने में मज़ा आ रहा है !
“आह…ये…या. यस…वाह…मेरी…जान…चूस…चूस ले..ले… और अन्दर … और अंदर ले … भोसड़ी … की.. और जोर .. से.. ले..और ले.. ले… वाह…” अब उसने सुनयना के मुँह में धक्के मारना चालू कर दिया था।
लेकिन अचानक बॉस ने सुनयना के मुँह में धक्कों की स्पीड बढ़ा दी और सर पकड़ कर पूरा लण्ड मुँह में अन्दर बाहर करते हुए ज़ोर से चिल्लाने लगा “आ…..ह…. .ह…. आ…ले… कॉम…ओं…न ….मेरी…जान…ले..पीले…पूरा.. पी..ले.. माँ..चोद. चूस.. चूस… पी…ले..पी..”
अचानक उसके मुँह में पिचकारी चल गई। एक बॉस सुनयना के मुँह में अपना पानी डाल चुका था और उसने उसका पूरा रस पी लिया। सुनयना ने उसका लण्ड चाट चाट कर साफ़ कर दिया, शायद उसके रस का स्वाद अच्छा था..
झड़ने के बाद उसने अपने लण्ड बाहर निकाल लिया और हंसने लगा। दोस्तों यह कहानी आप मस्तराम डॉट नेट पर पढ़ रहे है
उधर शायद दूसरा बॉस भी चूत चोद कर थक गया था इसलिए वो भी उठ कर खड़ा हो गया और सुनयना के मुँह के पास लण्ड ला कर बोला,”प्लीज़ जान मेरा भी तो चूसो..” आप पढ़ रहे है मेरी बीवी अपने बॉस से चुदी
उसने हँसते हुए उससे कहा,”तुम तीनों अगर मेरे मुँह में ही उलटी करके चले जाओगे तो मैं क्या करूंगी..!”
“नहीं मेरी जान, मैं तो तुम्हारी चूत में ही पानी डालूँगा चिंता मत करो !” एक बॉस ने जवाब दिया।
सुनयना ने एक बॉस का लण्ड मुँह में लेकर चूसना शुरू कर दिया। थोड़ी देर तक उसका लण्ड चूसने के बाद उसने अपना लण्ड मेरे मुँह में से निकाल लिया और उससे बोला,”चल.. मेरी रानी.. अब कुतिया बन जा… आज तेरी चूत का बाजा बजाऊंगा !” उसने फ़ौरन उसका आदेश माना और उलटी होकर चूत को उसकी तरफ़ कर दिया। उसने भी आसन लगा कर चूत की छेद पर लण्ड लगाया और एक करारा धक्का दिया।
“आ.इ.ई.गई….आ..आ गया…आ. गया..मेरे राजा..पूरा..अन्दर..आ..गया..” सुनयना चिल्लाने लगी।
फिर तीनों ने उसे बारी बारी चोदा। कोई उसकी चूत मारता तो कोई गाण्ड तो कोई उसके स्तन चूसता। मैं अब भी पर्दे के पिछे छिपा था। अपनी सुनयना की इस चुदाई को देख मुझे रोना आ रहा था कि मेरे प्यार ने मुझे कहीं का नहीं छोड़ा। वो सब अब थक चुके थे अब वे सुनयना के स्तन और चूत को ही चूसे जा रहे थे।
तभी मैंने सुनयना को मोबाइल से संदेश भेजा कि वह क्या कर रही है।
मैं उसका उत्तर देखना चाहता था।
उसने लिखा- जान मैं नंगी हो कर बेड पे लेटी हूँ और तुम्हें सपने में प्यार कर रही हूँ।
वो सव साथ में सो गए। सुनयना रन्डी की तरह उनके बीच लेटी थी। उसका एक बॉस अभी भी उसकी चूत चूस रहा था और स्तन दबा रहा था। बाकी सब सो चुके थे और वो अभी भी उसे चूस रहा था।
उसके सभी बॉस उससे लगभग दस साल बड़े होंगे। तब मुझे लगा कि मैं उसे कभी सेक्स का मज़ा नहीं दे पाया। तब मुझे लगा कि प्यार से ज्यादा सेक्स की भूख होती है जो मैंने अपनी सुनयना में देखी।

बिजनेश के लिए क्लाइंट को चोद के खुश किया business ke liye client ko chod ke khus kiya

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हेल्लो इस सेक्स कहानी की वेबसाइट के सभी दर्शक गण को ,मेरा सलाम और प्रणाम. मेरा नाम गौतम हे और मैं जयपुर का हूँ लेकिन अभी दिल्ली में रहता हूँ. मैं 27 साल का हूँ और मेरी हाईट 6 फिट में बस एक ही इंच कम हे. मेरी बॉडी भी सही हे और दिखने में और स्टाइल में एकदम हेंडसम लौंडा हूँ. मेरे लंड का साइज़ पुरे 8 इंच हे और जब वो खड़ा हो तो किसी भी औरत की चूत को खुश और शांत कर सकता हे. मैं मसाज देने में भी एक्सपर्ट हूँ और तेल लगा के बॉडी को एकदम हल्का कर देता हूँ. अब आप को बोर किये बिना मैं सीधे कहानी के ऊपर आता हूँ.
बात उन दिनों की हे जबी मैं एक दोस्त के साथ मिल के इवेंट कम्पनी चलाता था. और हम नए थे तो हमें क्लाइंट भी उतनी जल्दी नहीं मिल रहे थे. हम लोग क्लाइंट की खोज में रहते थे. आये दिनों मीटिंग और नए नए चेलेंज मिलते थे. लेकिन एक क्लाइंट कनिका ने जो चेलेंज दिया था उसकी तो बात ही कुछ और थी.
दरअसल कनिका हमारे एक क्लाइंट की मार्केटिंग मेनेजर थी और वो सुपर फ्लर्ट किस्म की औरत थी. और वो हमें काम को ले के डरा रही थी की आप के रेट्स ज्यादा हे, आप के कम्पीटीटर हमें बढ़िया रेट दे रहे हे वगेरह वगेरह. मेरे दोस्त ने मुझे कहा की यार ये कनिका को कुछ और चाहिए ऐसे लगता हे मेरे को. मैंने कहा कुछ और मतलब? वो बोला की एक काम कर उसको वीकेंड पर डिनर के लिए इनवाट कर लेता हु और वहां पर तू उसे सब कुछ समझा देना.
मैंने भी हां कर दिया क्यूंकि कनिका के थ्रू ही बिजनेश मिलने वाला था. मैंने पुरे प्रेजेंटेशन पर और रेट्स पर दुबारा वर्क किया और होटल में कनिका से मिलने के लिए रेडी हो गया. मैं होटल पर पहुँचा तो कनिका को कॉल करने के लिए जब सेल निकाला ही था की उसने मुझे आवाज दी. वो अपनी गाडी में बैठे हुए ही मेरे को वेव कर रही थी. मैं अपनी कार से निकल के उसकी कार के पास पहुंचा तो उसने मुझे अंदर बैठने को कहा. मैं अन्दर बैठा और उसने उसी वक्त गाडी स्टार्ट कर दी. तो मैंने पूछा अरे नमन ने सीट्स रिजर्व की हे यहाँ पर हमारे लिए. वो मुस्कुराते हुए बोली, लेकिन यहाँ तुम मुझे अच्छी तरह से प्रेजेंटेशन नहीं दे पाओगे, बहुत नोईसी हे.
मैं चुपचाप बैठा रहा और वो गाडी ड्राइव कर के शहर के सब से पोश एरिया में बने एक अपार्टमेन्ट में ले गई. गाडी पार्किंग में लगा वो मुझे बोली, यहाँ मेरा फ्लेट हे सुकून से प्रेजेंटेशन भी दे देना और कुछ खाने के लिए ऑर्डर भी कर लेंगे.
हम दोनों कनिका के फ्लेट में पहुंचे जो काफी अमेजिंग था. और उसने काफी अच्छे से सजाया हुआ था उसको. कनिका ने मुझे काउच पर बैठने को कहा और खुद अंदर चली गई. जब कुछ देर के बाद वो बहार आई तो वो टाईट वाइट शॉर्ट्स में और ब्ल्यू स्लीवलेस टॉप में थी. वो एकदम डाम सेक्सी लग रही थी उन कपड़ो में.
उसने वही पर एक ट्रंक को खोला जिसके अन्दर शराब की बोतले थी. उसने कहा जो पीते हो वो उठा लो. मैंने कहा ये सब तो चलता रहेगा आप पहले प्रेजेंटेशन तो देख लो. वो स्माइल दे के बोली, ये लेने से प्रेजेंटेशन देने का कांफिडेंस बढेगा. और ये कह के उसने वोडका की एक ड्रिंक अपने लिए और मेरे लिए बनाई. मैंने भी हाथ में ले ही लिया जाम को.
हम दोनों ड्रिंक लेते हुए प्रेजेंटेशन देख रहे थे. तभी मैंने महसूस किया की कनिका मेरे काफी करीब आ चुकी थी. और लगभग मेरे कंधे के ऊपर टिक के प्रेजेंटेशन देख रही थी. उसकी साँसे मेरी गर्दन के ऊपर साफ महसूस हो रही थी. मैंने ग्लास रखने के लिए खुद को उस से दूर किया तो वो किसी बहाने से और करीब आ गई. अब हम लोग कास्टिंग के पेज पर पहुंचे ही थे की उसने मुझे कहा, तुम्हारी बस यही बात मुझे पसंद नहीं हे.
मैंने कहा लेकिन कास्टिंग तुम्हारे हिसाब से ही बनाई हे मैना. वो बोली तुम इतना काम क्यूँ करते हो. और ये कह कर उसने मेरे हाथ से लेपटोप ले कर टेबल पर रख दिया और खुद मेरी तरफ मुहं कर के मेरी गॉड में बैठ गई. ये सब एकदम अनएक्सपेक्टेड था और इतना जल्दी हुआ की मैं खुद को संभाल भी नहीं पाया.
कनिका के कंधो तक लहराते हुए बाल अब मेरे चहरे के ऊपर थे और उसके लिप्स मेरे लिस्प को छू रहे थे. मैंने सोचने समझने के होश में ही नहीं था. मैंने भी उसके रसीले होंठो को चुसना चालू कर दिया और कनिका भी बराबर मेरा साथ दे रही थी. वो मुझसे लिपट गई और उसके तने हुए चुचें मुझे महसूस होने लगे थे जिन्हें अब मैंने हलके हाथ से मसलना शरु कर दिया था. कनिका ने मेरे होंठो को चूमना जारी रखा और इस कद्र चूमा की होंठ तो होंठो मेरी दाढ़ी भी उसके थूंक से गीली हो गई थी. मैंने उसे पलटा दिया, अपने मुहं को साफ कर के मैंने उसका टॉप उतार दिया. मैंने नोटिस किया की उसने ब्रा नहीं पहनी थी. उसके भरे हुए सांवले चुचे मेरे मुहं में थे जिन्हें मैं मस्त चूसने लगा. मुझे उसके चुचें इतने अच्छे लग रहे थे की उनके आगे मैं सब कुछ भूल चूका था.
कनिका ने मेरे लंड को जींस के ऊपर से ही सहलाना शरु कर दिया और उसे मेरे लंड का साइज बहार से ही पता लग गया. वो बोली, बाप रे काफी बड़ा पेनिस हे तुम्हारा तो उसके साथ मजा आ जाएगा! मैंने स्माइल दे के कहा, फिर जल्दी से इसे ले लो.
कनिका ने मेरी जींस उतारी और अपने शॉर्ट्स को भी. और मुझे ओंधा लेटा के वो सीधे ही मेरे लंड के ऊपर सवार हो गई. उसकी चूत इतनी जल्दी वेट हो गई की मुझे ताजुब सा लगा. लेकिन एक बात गजब की थी की उसकी चूत अन्दर से काफी गरम थी और कनिका मेरे लंड की सवारी करते हुए अपनी गांड मटका रही थी. जिस से मेरा एक्साइटमेंट का लेवल और भी बढ़ गया था. कनिका को झड़ने में दो मिनिट भी नहीं लगे. लेकिन मैंने अपना भूखा लंड उसकी चूत से निकाले बिना ही उसको घोड़ी बना दिया. वो गांड हिला रही थी और मैं पीछे से उसकी चूत को चोद रहा था. कनिका की आवाजों से उसका फ्लेट गूंजने लगा था और इस बार हम दोनों एक साथ में ही झड़ गये.
हम दोनों ने बाथरूम में जा कर अपने अपने जेनाइटल को धो लिए. और फिर कनिका ने खाना ऑर्डर कर दिया. एक एक ड्रिंक फिर से बनाया उसने. कनिका एक ही सांस में अपना ड्रिंक गटक गई और मेरे लंड को पकड़ के उसे चूसने लगी. मैं अपनी ड्रिंक पीते हुए उसको अपना लंड चूसते हुए देख रहा था.
उसका मुहं मेरे लंड से पूरा भर गया था. और वो लंड को बड़े ही मजे से लिक और सक कर रही थी. कनिका ने मेरे लंड को बांसुरी की तरह अपने होंठो के ऊपर सजा रखा था. और वो मेरे लंड और बॉल्स पर अपने होंठो को रगड़ रही थी. अब कनिका एकदम से मेरे लंड को पूरा मुहं में ले गई तो मैं हैरान सा हो गया क्यूंकि ना तो उसकी साँस अटक रही थी ना ही उसे तकलीफ हो रही थी. वो लंड चूसने की पक्की खिलाड़ी लग रही थी. क्यूंकि 8 इंच का लंड पूरा मुहं में ले लेना हर किसी के बस की बात नहीं हे. उसने लंड को चूस चूस के उसका रस निकाल के सब का सब पी भी लिया. फिर उसने खड़े हो के एक रुमाल से अपने मुहं को साफ़ किया. उसके होंठो पर जो वीर्य के छींटे थे वो जबान से उसे भी अंदर ले गई.
तभी डोरबेल बजी. कनिका ने फट से कपडे पहने और वो खाना ले आई. फिर से वो नंगी हो गई. हम दोनों ने नंगे ही खाना खा लिया. खाने के बाद मैंने कनिका को बिस्तर में डाला और उसके ऊपर चढ़ के मैंने उसकी चूत और गांड को खूब लिक किया. वो मेरे मुह पर ही झड़ भी गई.
उस रात को हम दोनों ने पूरी रात एक दूसरे की बॉडी को एन्जॉय किया. हर तरह के दाव लगाए मैंने कनिका के साथ. उसकी चूत को 3 बार और गांड को 2 बार अपने लंड से भर दिया. वो भी खुश हो गई थी मोर्निंग तक.
सुबह वो नहाते हुए बोली, अच्छा प्रेजेंटेशन था. मुझे ऐसे ही प्रेजेंटेशन देते रहो और मैं तुम्हारे लिए क्लाइंट लाती रहूंगी.
मैंने कहा, जब चाहिए प्रेजेंटेशन तब मुझे बता देना!
दोस्तों मेरी और नमन की पार्टनरशिप डेढ़ साल तक चली. और कनिका को मैंने उस अरसे में पचासों बार चोदा. जैसे उसने कहा था वो धंधा ले के आती थी मेरे लंड के बदले में. एक बार तो मैंने और नमन ने एक साथ उसके साथ थ्रीसम भी किया था.
फिर नमन एक कार एक्सीडेंट में मर गया और मैंने भी कम्पनी वाइंड अप कर ली क्यूंकि मैं अकेले हेंडल नहीं कर पाता था. कनिका से मेरी भेट भी धीरे धीरे कम हो गई. लास्ट न्यूज ऐसी मिली थी की उसने अपने बॉस के साथ ही शादी कर ली थी और अब वो कनाडा चले गए हे!

पति के नुन्नी से मजा नहीं आया तो बॉस ने अपना लौड़ा चुसाया pati ke nanni se maja nahi aya

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हाय मेरे चुत के राजाओ आप सभी के लौड़ो की रानी यानि मेरी चुत की तरफ से ढेर सारा चुत का पानी जिसका स्मेल आपको मदहोश करने के लिए काफी है. वैसे इस डर्टी टॉकिंग के लिए सॉरी वैसे डर्टी क्या है इसमे आप सभी यही तो सुनना पसंद करते है और मुझे भी ये सब बताने में बड़ा मजा आता है. वैसे मेरी प्यारी सी चुत के सपने हैं की जिंदगी में उसे जितने भी लौड़े लेने का मजा मिल सके तो जरुर लेगी और आज की ये कहानी आप सभी तक पहुचने का मकसद येही है ताकि मेरी स्टोरी पढ़ मुझे अगर किसी को मुझे चोदना हो तो चोद सके वैसे चुदाई ऐसी चीज है की इससे लडकियो का चेहरा दिन पे दिन खिलता जाता है क्योकि उनके अंदर की सभी गन्दगी और गर्मी पूरी तरह से बाहर निकल जाती है और बदन खिल उठता है. चलियो ज्ञान की बाते बहुत कर लियर अब कहानी की और चलते है.
काफी सारी कहानियाँ पढ़ने के बाद मैं चाहती हूँ कि अपनी आप-बीती भी मैं आपको सुनाऊँ। मेरा नाम कनक है, मैं जहा से भी उससे आप सभी को कोई लेना देना नहीं। मेरी शादी एक सीधे साधे चूतिया सडू टाइप के इडियट से हुई है।
शादी के बाद हम अपनी हनीमुन मनाने गोवा गए 3 दिनों के लिए। उन 3 दिनों में ऐसा कुछ नहीं हुआ जिससे मुझे मज़ा आया हो ! जाने से पहले मुझे लगा की 3 दिन तो बहुत कम है मुझे 1 सप्ताह तक रहना था लेकिन जाने के बाद मेरे लिए ये 3 दिन भी बड़े ज्यादा लगने लगे. अब तो आप समझ ही गए होंगे मेरी दस्ता ! विकास (मेरे पति) ने मुझे ढंग से नहीं चोदा- मैं अनचुदी रह गई।
मैं वापस दिल्ली आ गई और ऑफिस के काम में लग गई।
एक रोज़ बॉस ने कहा- शनिवार को आना है !
मुझसे वैसे भी शनिवार काटे नहीं कटता था क्यूंकि विकास का शनिवार को भी ऑफिस होता है। मैं तकरीबन ग्यारह बजे ऑफिस पहुँच गई। बॉस आ चुके थे। हम दोनों ने दो बजे तक डटकर काम किया। ऑफिस में सिर्फ मेरा बॉस, मैं और ऑफिस बॉय कन्हैया था।
मैं अपने कंप्यूटर पर कुछ काम कर रही थी कि बॉस पीछे से आकर देखने लगे और समझाने लगे कि कैसे क्या करना है। मैं उनका निर्देश लेकर काम करती रही। चूंकि बॉस बहुत पास आकर देख रहे थे, मेरा एक गाल उनके बहुत ही नज़दीक हो गया था। उनको पता नहीं क्या सूझी, उन्होंने मेरे गाल पर एक पप्पी दे दी। मैं चौंक गई।
बॉस ने कहा- कनक, तुम बहुत सुन्दर हो और मुझे तुम अच्छी लगती हो।
मैं बस उनको देखती रह गई। फिर उन्होंने मेरी बाहों पर हाथ फेरना शुरु किया। हाथ फेरते फेरते उनके हाथ मेरे गले तक पहुंचे और वे मुझे प्यार करने लगे। इतने में कन्हैया अन्दर आया। मैंने बॉस से कहा- सर, कन्हैया को बाहर भेजिए पहले।
बॉस खुश। इसमें मेरी हाँ जो थी।
वे बाहर गए यह कहते हुए कि तैयार रहना। मैं समझ गई कि बॉस मुझे आज चोदेगा और मैं खुश हो गई। मैंने अपनी चूत से कहा- देख निगोड़ी ! सब्र का फल मीठा होता है। आज उछल कर चुदना।
मैं सीधे बाथरूम गई, खूब मूता और अपनी चूत को खूब साफ़ किया। हल्का सा स्प्रे लगाकर मैं बाहर आ गई। इतने में बॉस अन्दर आये। और उन्होंने मुझे दीवार से टिकाकर मुझे खूब चूमा। चूमते चूमते उन्होंने मेरा ब्लाऊज उतार दिया। अब मैं ब्रा और स्कर्ट में थी। मुझे अपनी गोद में बिठाया और मेरे होटों को चूसने लगे। मैं भी कहाँ पीछे हटने वाली थी। मैं भी मस्त हो कर उनसे झूल गई। क्यों ना झूलती ! मेरी चूत में भी तो कुछ कुछ हो रहा था।
उन्होंने मुझे खड़ा किया और मेरी स्कर्ट उतार दी। मैं अब सिर्फ चड्डी और ब्रा में थी। बॉस मुझे निहार रहे थे, मैंने इनकी टी-शर्ट उतार दी और फिर उनकी जींस। बॉस का लंड तो बाहर आने के लिए कुलांचे भर रहा था। मैंने उनका लंड पकड़ लिया। बॉस ने एक आह भरी और मुझे मेरी ब्रा से अलग किया। दोनों मम्मों को दबाने लगे और फिर मुझे गोद में उठाकर मेरी चड्डी अलग कर दी। इस वक़्त मैं बॉस की बाहों में पूरी की पूरी नंगी थी। बॉस मुझे इसी अवस्था में बोर्ड रूम ले गए और मुझे मेज़ पर लिटा दिया। मेरे दोनों हाथ ऊपर और दोनों टाँगे अलग अलग करके वे मेरी झांटों से खेलने लगे। मेरे होंठों पर उनके होंठ, उनका एक हाथ मेरी एक बांहों को सहला रहा था और दूसरे हाथ से वे मेरी चूत से खेल रहे थे। ऐसा सुख मुझे विकास ने कभी नहीं दिया था। बॉस मुझे चूमते हुए मेरी नाभि तक पहुंचे और फिर मेरी चूत पर। चूत को चौड़ा कर उन्होने अपनी जीभ मेरे रति-छिद्र में डाल दी जिससे में दो फ़ुट ऊपर उछल गई।
इतने में मेरा मोबाईल बजा, अब मैं कैसे उठाती। बजते बजते बंद हो गया। फिर बजा। और उसके बाद फिर। मैं समझ गई विकास ही होंगे। इतने में ऑफिस का फ़ोन बजा और चूंकि एक फ़ोन उस मेज़ पर ही था, मैंने अनायास उठा लिया।
विकास ही थे, पूछ रहे थे- क्या कर रही हो डार्लिंग?
अब मैं क्या कहती – अपनी चूत चुसवा रही हूँ?
मैंने कहा- काम कर रही हूँ।
इतने में राज के चूसने से मैं झड़ने वाली थी। मेरे मुँह से एक लम्बी आह निकली।
विकास ने पूछा क्या हुआ?
सोचा- बोल दूं कि झड़ने वाली हूँ, लेकिन कहा- एक जगह बैठे बैठे पांव सुन्न हो गया। हिल नहीं पा रही हूँ।
इतने में राज ने मेरी चूत से पानी निकाल दिया। मैंने फ़ोन रख दिया और जोर से हूँ-हाँ करने लगी। बॉस ने अब ऊँगली करनी शुरू कर दी और मैं फिर से झड़ गई। बॉस मुझे खूब चूमा और कहा- उठो।
मैं मेज़ से उठ नहीं पा रही थी। बॉस समझ गए। मेरे बदन को निहारते रहे।
पांच मिनट के बाद में उठी और बॉस के सामने खड़ी हो गई। अब बॉस मेज़ पर लेट गए। मैंने उनकी चड्डी उतार दी। उनका लंड तो एक भयानक किस्म का जीव लग रहा था। आठ इंच लम्बा और डेढ़ इंच मोटा। उनका सुपारा एकदम गुलाबी रंग का था और मैंने उस सुपारे को अपने नाख़ून से थोड़ा पिंच किया। मेरे बॉस के मुँह से एक दर्दनाक आह निकली। मैंने अपने दोनों हाथों से उनका लंड लिया। मेरे दोनों हाथों में नहीं समा पा रहा था वो। खैर मैंने एक हाथ से उसको हिलाना शुरू किया।
फिर बॉस ने अपनी टांगें चौड़ी की और कहा- टेबल पर आ जाओ !
मैं मेज़ पर चढ़ गई और उनका लंड चूसने लगी। मैंने खूब चूसा और खूब हिलाया। उनके टट्टे अपने मुँह में लेकर उनके लंड को ऊपर नीचे करने लगी। बॉस शायद झड़ने वाले थे। एक लम्बी आह भरी और बोले- कनक मेरा मट्ठा निकल रहा है ! चूस रानी चूस।
मैने भी उनके लंड को चूसकर सारा का सारा मट्ठा निकाला और पी गई। बॉस का लंड एक ओर लुढ़क गया। मैने उसे चूमा और बॉस के पास आकर लेट गई।
दस मिनट के बाद बॉस ने पूछा- तैयार हो?
मैं तो कब से तैयार थी, मैं बोली- हाँ ! और इनका लंड फिर से तैयार करने लगी।
बॉस मेरी चूत में ऊँगली करने लगे। मैं तो गीली हो गई थी। बॉस ने मुझे गोद में उठाया और सोफे की ओर ले गए। मुझे औंधा लिटा कर उन्होंने मेरे चूतड़ उठाये और फिर मेरी फुद्दी में अपनी एक ऊँगली डाल दी। मैं तैयार थी। इतने में बॉस ने अपना सुपारा मेरी चूत में डाला और एक जोर का झटका दिया।
मैं चीख पड़ी। बॉस को कोई फर्क नहीं पड़ा। वे मेरी कमरिया को पकड़कर कभी मुझे अपनी ओर खींचते या फिर मुझे स्थिर रखकर अपने आप को धक्का देते। दोनों ही सूरत में मेरी फाड़ रहे थे। मैं तो बस चीखती रही। ये तो सहवाग की तरह बल्लेबाजी कर रहे थे। पता नहीं इनको क्या जल्दी थी। ऐसा उन्होने मेरे साथ तकरीबन पंद्रह मिनट तक किया और नीचे से मेरे मम्मों को भी दबा रहे थे।
मैं चिल्ला रही थी- बस करो बस करो, आह, ऊह, मर गई, मम्मीईई, मम्मीईईई !
मगर बॉस को कोई रहम नहीं आया। बॉस मुझे चोदते रहे और मैं चुदती रही। मेरी चूत का तो उन्होंने भोसड़ा बन दिया था। मन ही मन चाह रही थी कि विकास देखें और सीखें कि किस तरह से एक चूत को चोदा जाता है। थोड़ी देर में बॉस झड़ने वाले थे। उन्होंने अपना लंड निकाला और मेरी गोरी पीठ पर रख दिया। एक गर्म एहसास हुआ पीठ पर और बॉस ने अपना सारा माल मेरी पीठ पर उड़ेल दिया और फिर मेरे बगल में बैठ गए। मैं बॉस की गोद में लुढ़क गई। मैं बहुत थक गई थी। मैंने शादी से पहले ऐसी चुदने की कल्पना भर की थी। विकास ने यह सुख कभी ना दिया और ना ही कभी देगा। और बॉस ने तो मेरी ले ली।
उस रोज़ बॉस ने मुझे दो बार मेरी चूत को और चोदा और एक बार गांड भी मारी। शाम होते होते मैं बहुत पिद चुकी थी। इतनी चुदाई के बाद तो मैं खड़ी भी नहीं हो पा रही थी। बॉस ने मुझे उस रात घर तक छोड़ा। उसके बाद तो मैं बॉस से खूब खुलकर चुदने लगी। मैं हफ्ते में तीन चार बार तो बॉस से चुदती ही हूँ। अच्छा एक बात तो बताना ही भूल गई। मेरा प्रोमोशन हो गया है।
वैसे विकास भी कभी कभी अपनी लुल्ली मेरे अन्दर डाल देता है।

मेरे पति ने मुझे अपने बॉस से चुदवाया mere pati ne mujhe apne boss se chudvaya

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हेलो दोस्तों | मेरा नाम शबाना खान है | मैं उत्तर प्रदेश में रहती हूँ | मेरी उम्र 28 साल है | मै एक शादी शुदा औरत हूँ | मेरी शादी 3 साल पहले रहमान से हुई थी | मैं शादी से पहले एक बहुत सीधी साधी लड़की थी | मुझे कई लडको ने प्रपोज़ भी किया था लेकिन मैंने मना कर दिया था क्योकि मैंने तो सोच रखा था | कि मैं अपनी जवानी सिर्फ अपने पति के लिए बचा कर रखना चाहती थी | मैंने ये भी सोच रखा था | कि मैं अपनी चूत चुदाई की शुरुवात भी अपने पति से ही करूंगी | और मैंने ऐसा किया भी | मैंने यही सोचा था कि मैं सिर्फ अपने पति को ही अपने शरीर को हांथ लगाने दूँगी | लेकिन शादी के बाद एक घटना ने मेरी पूरी जिन्दगी बदल कर रख दी |
मेरे पति एक प्राइवेट कंपनी में जॉब करते है | उनको अच्छी सैलरी मिलती है |ये बात एक साल पहले की है | मेरे पति का काम सही नही चल रहा था | उनके बॉस उन्हें जॉब से निकालने वाले थे | उन्होंने बहुत मिन्नतें की तो उसने एक शर्त रख दी | की अगर मैं उसके साथ एक रात गुजारूं तो मेरे पति की जॉब को बख्स सकता है | वो चुपचाप मेरे पास आये और मुझे ये बात बताई | मुझे बहुत गुस्सा आया | मैंने कहा कैसे पति है आप | आप ये कैसे सोच सकते है | वो मेरे सामने हाँथ जोड़ कर गिडगिडाने लगे मुझे मजबूरी में उनकी बात मानना पड़ा | फिर उन्होंने इस बारे में अपने बॉस को इन्फॉर्म कर दिया | उसने एक दी फिक्स किया | और एक होटल में कमरा बुक कर लिया | उस दिन शाम को मेरे पति मुझे अपने साथ उस होटल तक ले कर गए | मैं रो रही थी | लेकिन कर भी क्या सकती थी | होटल के बाहर मुझे छोड कर वो चले गए | और मैं बताये हुवे कमरे के सामने पहुँच गई | और बेल बजाई | मेरे पति के बॉस ने दरवाजा खोला उसने मुझे देखा और मै चुपचाप अंदर चली गई | उसने दरवाजा बंद किया और मुझे अपने पास बुलाया | फिर मुझसे शराब डालने को कहा मैंने शराब डाली | जब मैं शराब देने गई तो उसने मेरे बूब्स को बड़े ध्यान से देखा | और बैठने को कहा | मैं बैठ गई | फिर उसने मुझे भी जबरन शराब पिला दी | मुझे ऐसा बर्ताव बहुत बुरा लग रहा था लेकिन कर भी क्या सकती थी | आखिर मेरे पति की वजह से ही तो मैं आज यहाँ थी | वो मेरे पास आया और बोला जब से तुमको देखा है मेरी जान मैं तो तुम्हारा दीवाना हो गया हूँ बस तब से सिर्फ तुम्हारे सपने ही देखता हूँ आज मेरी सारी हसरते पूरी कर दो | फिर वो मेरे ऊपर भूखे भेदिये की तरह कूद पड़ा | और जोर जोर से मुझे किस करने लगा | पहले तो मुझे बुरा लगा लेकिन फिर मैंने सोचा कि जब मेरा पति ही ये चाहता है तो फिर मैं क्यों टेन्सन लूँ | मैं भी उसे जोर जोर से किस करने लगी | ये देख कर वो बहुत खुश हुआ | और बोला समझदार हो बहुत जल्दी अकल आ गई | और फिर से वो मुझ पर जुट गया | फिर उसने मुझे बेड पे ले गया | वो भी अब बहुत गर्म हो गया था | थोड़ी देर ऐसे ही किस करने के बाद उसने अपना पैंट निकाल दिया | अब उसका लंड मेरे सामने था | मैंने जब लंड देखा तो मै बहुत डर गई | क्यूंकि ये लंड तो मेर पति के लंड से भी बड़ा और मोटा था | एकदम काला सा एकदम पोर्न फिल्म वाले लडको जैसा था लम्बा सा ,और खूब मोटा भी | मैने सोचा कि अगर ये मेरी चूत में गया तो मेरी चूत का तो एकदम भोसड़ा बन जायेगा | और मेरा तो बहुत बुरा हाल था मैं ये सोच रही थी कि ये अंदर कैसे जायेगा | ये कैसे अंदर जायेगा | उसने मुझे हवस भरी नजरों से देखा और बोला अरे मेरी जान आज रात ये बस तुम्हारे लिए है अभी तुम्हे बहुत मज़ा आएगा | इतना कहते ही उसने मेरा हांथ अपने लंड पर रख दिया | फिर मै लंड को धीरे धीरे ऊपर नीचे करने लगी | वो मज़े से आन्हे भर रहा था | फिर कुछ देर बाद उसने अपना लंड मेरे मुंह में पेल दिया | मैंने थोडा सा लंड अपने मुंह में ले लिया लेकिन उसको अभी मज़ा नही आया उसने अपना पूरा लंड मेरे मुंह में दे दिया | उसका लंड मेरे गले तक जा रहा था | वो मेरे मुंह को ही चोदने लगा | मै भी अब मज़े से उसके लंड को चूस रही थी | करीब 15 मिनट तक उसने मेरे मुंह को बुरी तरीके से पेला | और वो झड़ने वाला था मैंने उसके लंड को बाहर निकलना चाहा लेकिन उसने कस कर मेरे मुंह में लंड दबा दिया | मुझे उसका सारा रस पीना पड़ा
अब उसने मेरे और अपने सारे कपड़े उतार दिए और मुझे बेड पे बिठा कर मेरी टांगे फैला दी | फिर जैसे ही उन्होंने मेरी चूत पर उंगली रखा मैंने पानी छोड दिया | वो बोला मेरी जान तू तो अभी झड गई तुझे तो अभी पूरी रात मज़े देना है | उसने अपनी उँगलियाँ मेरे चूत में दाल दी और अन्दर बाहर करने लगा | मैं आह्ह्हह्ह… आहम्म्म्म.. की मादक आवान्जे निकाल रही थी | कुछ देर बाद वो मेरी चूत चाटने लगा और तब तक चाटता रहा जब तक कि मैं झड नही गई | उसने मेरी चूत चाट चाट कर साफ़ की |
फिर बोला आओ मेरी जान अब तुम्हे अपनी लंड की सैर कराता हूँ | उस ने मुझे सीधा किया और लंड को चूत पे रखा और अपने हाथ को मेर मुंह पे और एक हल्का सा झटका दिया | मेरे आँखों से आंसू निकल रहे थे | लेकिन उस ने मेरे मुंह को दबा रखा था इसीलिए मै चिल्ला नही पा रही थी मुझे बहुत दर्द हो रहा था | मुझे मेरे और लंड धीरे धीरे कर के पूरा अंदर तक ले गये | मेरी जान निकल गई थी | आखिर उसका लंड इतना बड़ा जो था | फिर एक ही झटके में पूरा लंड मेरी चूत में समां गया | थोड़ी देर ऐसे ही रहने के बाद वो धीरे धीरे झटके देने शुरू किये | अब मुझे धीरे धीरे मज़ा आने लगा था अब मै आह्हह….ओह्ह्ह्ह.. चोद मुझे और तेज़ से चोद कमीने फाड़ दे मेरी चूत तू भी तो यही चाहता है और मेरे कमीना पति भी अआह्ह्ह… उफ्फ्ह्हह…. करके आवाज़े निकाल रही थी साथ में ही अपनी गांड उठा उठा कर उसका साथ दे रहीं थी | कुछ देर के बाद वो झड गया | मेरी चूत में गरम गरम सा लग रहा था | और मैं तो इतनी ही देर में कई बार झड चुकी थी | मुझे बहुत अच्छा लगा | फिर वो उठकर खड़ा हुआऔर अपने लंड को मेरे मुंह में दे दिया | और मैं मज़े के साथ उसे चूसने लगी |
फिर 15 मिनट के बाद उस का लंड फिर से खड़ा हो गया | और आ कर सीधे बेड पे लेट गया | मैं उसके खड़े लंड पर जा कर बैठ गई | और खूब कूद कूद कर उसके लंड को अपनी चूत में लिया | मैं आह्हह.. आन्ह्ह… कर रही थी | अब उसने मुझको डॉगी बनने को बोला | मै तुरंत डॉगी बन गई पीछे से गांड में लंड डाल दिया मै चीखने लगी गलत जगह है.. औउ अह्ह्ह सामने डालो पीछे से नहीं, दर्द हो रहा है | निकाल निकाल दो मैं मर जाऊंगी…|
लेकिन फिर भी वो डालता रहा और एक लास्ट झटके में पूरा लंड गांड में डाल दिया और झुक कर मुझे किस किया | और मैंने अपनी गांड उठा कर रखी थी | वो मेरी गांड में लंड डाले जा रहे थे | फिर वो करीब आधे घंटे तक मेरी गांड मारता रहा | अभी वो थक गया था | वो सीधा बेड पर लेट गया | और आराम करने लगा मैंने सोचा कि अब बस ये खेल ख़त्म हुआ लेकिन ऐसा नही था | मुझे क्या पता था कि मुझे तो अभी पूरी रात चुदना है | कुछ देर बाद वो फिर शुरू हो गया | और मुझे चोदने लगा | ऐसे करीब उसने मुझे 6 बार चोदा और मेरी गांड मारी मैं तो पूरी तरह से थक कर चूर हो चुकी थी | सुबह मेरा पति आया उसने जब बेल बजाई तो मैं अभी बिना कपड़े में ही थी | मैंने बेशर्मी के साथ उसके सामने कपड़े पहने | उसने सर झुका रखा था | फिर मैं उसके साथ गाड़ी में बैठ कर घर चली गई |पूरे रस्ते उसकी हिम्मत नही हुई कुछ बोलने की |
अब मैं बहुत ही होर्नी किस्म की औरत हो गई हूँ | जब चाहूँ किसी से चुदवा लेती हूँ | लेकिन मेरे पति की हिम्मत नही होती है कि इसके लिए वो मुझे कुछ बोले क्योकि उसने ये हक़ खो दिया था |
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